- श्रम विभाग पोर्टल पर 52,30 लाख श्रमिक पंजीकृत करवाये।
- काम के दौरान दुर्घटना में मृत्यु होने पर श्रमिक के परिवार को 5 लाख रूपए मुआवजे देने की व्यवस्था बनवाई।
- सीवरेज में काम करते समय व्यक्ति की मौत होने पर 10 लाख रूपए बीमा की व्यवस्था बनवाई।
- सिलीकोसिस की बीमारी से प्रभावित श्रमिक के पुनर्वास हेतु 5 लाख रूपए की वित्तीय सहायत की व्यवस्था बनवाई।
- बच्चों की शिक्षा के लिए स्नातक कक्षा तक 20 हजार रूपए वार्षिक तक आर्थिक सहायता की व्यवस्था बनवाई।
- तकनीकी व व्यावसायिक संस्थानों में पढ़ रहे बच्चों के छात्रावास के लिए एक लाख 20 हजार रूपए वार्षिक देने की व्यवस्था बनवाई।
- श्रमिकों को बच्चों को कोचिंग के लिए 20 हजार रूपए तथा यूपीएससी एवं एचपीएससी की मुख्य परीक्षा की कोचिंग के लिए एक लाख रूपए की आर्थिक सहायता की व्यवस्था बनवाई।
- श्रमिकों की दिव्यांग पेंशन 3000 रूपए मासिक और 60 वर्ष की आयु उपरांत 1000 रूपए की अतिरिक्त राशि की व्यवस्था बनवाई।
- श्रमिकों के दिव्यांग बच्चों को 2500 रूपए मासिक आर्थिक सहायता देने की व्यवस्था बनवाई।
- दिव्यांग महिला कर्मचारियों को चाइल्ड केयर के लिए 1500 रूपए प्रति बच्चा विशेष भत्ता की व्यवस्था बनवाई।
- 1.80 लाख रूपए सालाना आय वाले सफाई कर्मचारियों के बच्चों की पढ़ाई के लिए बैंकों से बिना किसी गारंटी के ऋण की व्यवस्था बनवाई।
- अकुशल श्रमिकों की न्यूनतम वेतन दरें 10 हजार रुपए प्रतिमाह करवाई।
- 74 लाख लाभार्थियों को कन्यादान जैसी विभिन्न योजनाओं के तहत 636.38 करोड़ रुपए खर्च कर श्रमिकों को लाभान्वित करवाया।
- कोरोना मृतकों के आश्रितों की 5000 रुपए की आर्थिक मदद दिलवाई।
- नए ईएसआई अस्पताल व डिस्पेंसरियों का निर्माण करवाया।
- श्रमिकों के कल्याण के लिए नया सॉफ्टवेयर लॉन्च करवाया। इससे कार्य का ऑटोमैटिक समान बंटवारा होगा।
- इंट भट्ठा श्रमिकों के मूल वेतन 1.31 प्रतिशत की बढ़ोतरी करवाई।
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हिस्सेदारी कम - काम ज्यादा 10 सीटों से भी निभाया हर वादा
हमारे लिए कार्यक्षमता और प्रभावशीलता सबसे महत्वपूर्ण हैं। सीमित संसाधनों के बावजूद, हमने हर वादा निभाया और अपने लक्ष्य को प्राप्त किया। यह हमारी टीम की मेहनत और निष्ठा का नतीजा है, जो हमें अपने मिशन में लगातार सफल बनाता है।
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